गंगा तट पर बसी तीर्थ और कुंभ नगरी हरिद्वार में कई प्राचीन मंदिर, आश्रम और तपोवन है। यहां पर शक्ति त्रिकोण है अर्थात माता के तीन प्रमुख मंदिर है। मनसा देवी, चंडी देवी और महामाया शक्तिपीठ। गंगा के तट पर ब्रह्मकुंड नामक तट है जहां पर कुंभ मेले का आयोजन होता है। यहीं पर कई प्राचीन मंदिर और स्थान है। उन्हीं में से एक है गंगा मंदिर।
हरिद्वार के गंगा तट हर की पौड़ी पर स्थापित गंगा मंदिर मां गंगा को समर्पित है।
गंगा नदी जब दुर्गम पहाड़ों को छोड़कर मैदानी क्षेत्रों में आती है तब यहां स्थित देवभूमि के द्वारा मैदानी क्षेत्रों में प्रवेश करती है। इसी कारण इसे गंगाद्वार भी कहा जाता है।
ब्रह्मकुंड के समीप, गंगा तट को लगभग छूता हुआ यह एक अत्यंत छोटा गंगा मंदिर है जिसके भीतर गणेशजी की प्रतिमा है। हरिद्वार के अधिकतर मंदिरों में गंगा की एक प्रतिमा कहीं ना कहीं अवश्य होती है। यहां भी स्थित है।
शास्त्रों में गंगा को देवी का द्रव्य अवतार माना गया है। गंगा यहां की प्रमुख देवी हैं जिनके दर्शन प्राप्त करने के लिए ही भक्तगण यहां आते हैं।
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